सम्राट अशोक के 9 रहस्यमयी लोग और उनकी किताबें।
इस धरती पर बहुत सारी गुप्त और रहस्यमय संस्थायें हैं जिनको जनसमुदाय से छुपा कर रखा गया है जैसे illuminati, Area 57 जिनके रहस्य से समय के साथ पर्दा उठता रहा हैं ,परंतु अब भी ऐसी संथाओं से पूर्ण रूप से पर्दा नहीँ उठा हैं, हम एक ऐसी ही unknown secrete society की बात करने जा रहे है ।
इस socity के बारे में सबसे पहले 1923 में English writer Talbot mundy ने अपने एक book The nine unknown में बताया था । वे इसकी जानकारी को इकठा करने के लिये बहोत से बौद्ध मंदिरों में गये वहाँ से इसकी जानकारी इकठ्ठा की औऱ इस किताब रचना की ।बाद में बहुत से लेखकों एवं रिसर्चरों ने उस हकीकत पर अपनी मोहर लगाई ।
The outlet of history में H.G. wells ने लिखा है हजारों महान राजाओं के बीच साम्राट अशोक का नाम एक अलग ही चमकते सितारे की तरह है।
तो चलिए इस secret socity के बारे में जानने से पहले उस socity के रचयिता के बारे कुछ जान ले 304 ईसा पुर्व मौर्यकाल में सम्राट अशोक का जन्म हुआ था । अपने 100 भाईयों में साम्राट अशोक सबसे बड़े थे, उनका पूरा नाम देवांनाप्रिय अशोक मौर्य था , अशोक अपने राज्य के सेनापति भी रहे थे , उनके पिता बिन्दुसार के मौत के बाद राजगादी के लिए सभी भाईयों का विद्रोह हुआ , जिसमें अशोक की माता की म्रत्यु हो जाती है ,चुकी अशोक पहले से सेनापति थे इसलिए उनका वर्चस्व सेना पर था उन्होंने अपने भाइयों को बंदी बना लिया और उनको मार कर वही कुवें फेंक दिया ।
जहाँ अशोक ने अपने 98 भाइयों को मार कर फेंक दिया था ।
परंतु साम्राट अशोक का क्रोध शांत नहीं हुआ फिर उन्होंने विश्वविजेता बनने के लिए अखण्ड भारत पर अपना वर्चस्व बनान सुरु किया, उस समय तक साम्राट अशोक ने पूरे भारतवर्ष पर अपना विजयी पताखा लहरा दिया था , अब वे एक चक्रवर्ती साम्राट थे ,परंतु उन्हें कलिंगा अपना समर्पण नही कर रहा था, तब साम्राट अशोक ने खुद उस युद्ध की अगुवाई की ,ये युद्ध प्रलयकारी था कलिंगा में सैनिक ज्यादे नहीं थे इसलिये वहाँ के किसान औरते बच्चे सब युद्ध लड़े थे इस युद्ध मे 1 लाख से ज्यादे लोग मारे गये तथा 1 लाख 50 हज़ार लोगो को बंदी बना लिया गया । ये युद्व साम्राट अशोक ने जीत तो लिया परंतु इस हत्या कांड ने साम्राट को अंदर तक विचलित कर दिया औरतें किसान बच्चे तक मेरे थे इस युद्ध मे ।
इस युद्ध के परिणाम ने बाकी राज्यो को इस कदर डरा दिया कि वे खुद समर्पण करने लगे , परन्तु सम्राट अब खुद बदल गये थे वे शांति की खोज में बौद्ध लोगो से मिले , उनका ज्ञान देखकर सम्राट ने बौद्व धर्म अपना लिया उस समय बौद्ध कोई धर्म नही था , बस एक संस्था थी जो लोगों और समाज से दूर रहकर ज्ञान की खोज करते थे और ज्ञान का प्रसार करते थे ,साम्राट ने भी इसका प्रचार प्रसार सुरु कियाऔर बहुत सारे ज्ञान को एकत्रित किया मठ बनवाये ।
साम्राट अशोक ने बौद्ध ज्ञान को अलग अलग विषयानुसार 9 किताबों में संग्रहित किया ,जो कि उस समय के ज्ञान से काफी ज्यादा advance था।जिसे दुनियां से छुपा कर रखना ही उचीत था , नही तो सारी दुनिया से सभ्यता का विनाश हो जाता ।इन किताबों की सुरक्षा एवं किताबों की जानकारी को आगे बढ़ाने के लिए सम्राट अशोक ने दुनिया भर से हजारों ज्ञानी लोगों को आमंत्रित किया , उनमें से 9 लोगों को वो किताबें दी गई तथा उनको इस दुनियां से अलग कर दिया गया , और उनको instruction दिया गया था कि वो कभी भी directly इस संसार मे interfere नही करेंगें और अपनी पहचान गुप्त रखंगे । इसलिए उन लोगों ने आपस मे बात करने के लिए एक नई भाषा का ईजाद किया , जिसे इन 9 लोगो के अलावा कोई नही जानता था ।
पहली किताब propaganda & Psychological war fare पर थी इस किताब में human mind set & mind wash की विस्तृत जानकारी थी , इसको जानने वाला पूर्ण मानव जाती का mind सेट करके उनको अपना गुलाम बना सकता था , जनमत को नियंत्रित कर सकता हैं , mass opinion अपने अनुसार बदल सकता था, इसमें universal राजनीति का ज्ञान था , कहा जाता है कि इसी किताब बिशिष्ट ज्ञान से ही उस समय बौद्ध धर्म का प्रचार दूसरे देशों में इतनी तेज गति से फैला ।
इस किताब को science of killing कहा जाता है , इसमे ऐसे ऐसे pressure point की जानकारी थी जिसे touch करने मात्र से आदमी मौत हो सकती है और सबको लगेगा कि ये natural death है, इसे touch of death या मृत्यु स्पर्श भी कहते है , कहा जाता है कि मार्शल आर्ट एवं जूडो भी इसी किताब की देन हैं ।
ये किताब जीवाणु विषाणु एवं virus की जानकारी से निहित हैं । इस किताब को जानने वाला virous फैला कर किसी भी सभ्यता का अंत कर सकता था , इसमे चमत्कारी औसाधियो एवं पेड़ पौधों से बात करने का विशिष्ट ज्ञान भी निहित था ।
Alchemy यानी chemistry इस किताब में metallurgy की जानकरी निहित थी, इसमे धातुओं के मिश्रण से सोना बनाने का प्रक्रिया का ज्ञान था । इसकी हकीकत दरसाने के लिए Talbot ने बताया कि जब भी मन्दिरो के निर्माण में सोने की कमी आती तब कही unknown source से सोना उपलब्ध हो जाता था जो कि इसी किताब की देन होता था ।
पाँचवी किताब communication based थी इस किताब में ऐसे कॉम्युनिकेशन का ज्ञान था जिससे धरती के अलावा अंतरिक्ष के परग्रहियों से भी communicate किया जा सकता था ,इसका ज्ञान आज के ज्ञान से भी ज्यादा advance था ।
इसमे gravity related सारी जानकारियां थी इसमे antigravity यान अन्तरिक्ष यान बनाने का विशिष्ट ज्ञान था , कहा जाता है कि विमान शास्त्र भी इसी किताब की देन है ।
इसमे अन्तरिक्ष का विशिष्ट ज्ञान निहित था , ब्रमांड की उत्पत्ति ग्रहों का वितरण सौर मंडल की उत्पत्ति का पूर्ण विवरण था इसके अलावा space time भविष्य देखने एवं भविष्य में जाने का भी विस्तृत जानकरी हैं ।
ये क़िताब लाइट wave और speed of light & power of light का ज्ञान बताती है कि कैसे light को औज़ार की तरह इस्तेमाल किया जा सकता है ।
ये किताब सभ्यता का उदय पतन की जानकारी को दर्शाती है इसमें ऐसे ज्ञान निहित जिससे किसी भी सभ्यता विकास एवं पतन कैसे किया जाय इसका ज्ञान निहित है इसमे एकता एकजुटता का भी ज्ञान हैं ।
ये सभी किताबें आज के विज्ञान से भी कही ज्यादे advance थी जिसे छुपाये रखना अतिआश्यक था , ये किताब ज्ञानवर्धक के साथ साथ विनाशकारी ज्ञान को भी निहित किये हुई थी । कुछ मतो के अनुसार इसमे अमर होने का भी ज्ञान था इसलिए उन 9 लोगो को अमरता का भी ज्ञान मिला जिससे कि वो की किताब का संरक्षण युगों युगों तक कर सके ।
कुछ मतो के अनुसार वे 9 लोग आगे के 9 लीगो का चुनाव करते और फिर ये जिमेवारी उनको दी जाती रहीहैं !
निष्कर्ष – अब ये हकीकत है या myth अभी तक इसका कोई प्रमाण नही मिल सका है , और जबतक कोई किताब मिल नही जाती तबतक हम किसी निष्कर्ष पर नहीं आ सकते , परंतु सम्राट अशोक की ख्याति इतनी ऊँची है कि हम इसे नकार भी नहीँ सकते ।
अब आपका क्या मत हैं आप हमें कॉमेंट बॉक्स में टिप्पणी करके बता सकते है ।
धन्यवाद ।।
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